राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज़ नेटवर्क

चीन और पाकिस्तान की स्पेस दोस्ती नई ऊंचाई पर! चीन अब पाकिस्तान के पहले अंतरिक्ष यात्री को अपने तियांगोंग स्पेस स्टेशन पर भेजने जा रहा है. जानिए कैसे दो पाकिस्तानी एस्ट्रोनॉट्स चीन के ताइकॉनॉट्स के साथ ट्रेनिंग लेकर इतिहास रचने की तैयारी में हैं, और क्यों यह मिशन पाकिस्तान के लिए स्पेस डिप्लोमेसी का सबसे बड़ा कदम माना जा रहा है.

पाकिस्तान के लिए यह पल किसी सपने से कम नहीं. जो काम अब तक सिर्फ अमेरिका, रूस या भारत जैसे देशों तक सीमित था, अब पाकिस्तान भी उसी कतार में शामिल होने जा रहा है चीन की मदद से. चीन ने ऐलान किया है कि वह पाकिस्तान के पहले अंतरिक्ष यात्री को अपने तियांगोंग स्पेस स्टेशन (Tiangong Space Station) पर भेजेगा. यह मिशन भले ही छोटा हो, लेकिन पाकिस्तान के अंतरिक्ष इतिहास में यह सबसे बड़ी छलांग मानी जा रही है. रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, यह कदम चीन-पाकिस्तान की गहरी होती साझेदारी का सबूत है. खास बात ये है कि पाकिस्तान अपनी तकनीकी और वैज्ञानिक तरक्की के लिए चीन पर पहले से ज्यादा भरोसा करने लगा है.चीनी सरकारी एजेंसी शिन्हुआ (Xinhua) की रिपोर्ट के अनुसार, दो पाकिस्तानी अंतरिक्ष यात्री चीन के ताइकॉनॉट्स के साथ कड़ा प्रशिक्षण लेंगे. ट्रेनिंग के बाद उनमें से एक को चुना जाएगा, जो “स्पेशल साइंटिफिक पेलोड स्पेशलिस्ट” के रूप में इस मिशन में जाएगा.

यह पाकिस्तान के इतिहास का पहला मौका होगा जब उसका कोई नागरिक मानवयुक्त अंतरिक्ष अभियान (Human Spaceflight) का हिस्सा बनेगा. इस मिशन को संभव बनाया है चीन की मैनड स्पेस एजेंसी (CMSA) और पाकिस्तान की स्पेस एजेंसी SUPARCO (Space and Upper Atmosphere Research Commission) की साझेदारी ने.

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