राष्टï्रीय प्रस्तावना न्यूज नेटवर्क।
गोला-लखीमपुर खीरी। श्री धर्मादा समिति गौशाला के सात दिवसीय गोपाष्टमी महोत्सव के तीसरे दिन कवि गोष्ठïी हुई। यह गोष्ठïी स्व.छोटे लाल दीक्षित स्मृति फाउण्डेशन एवं सृजन फाउण्डेशन की ओर से हुर्ई। कवि गोष्ठी का शुभारंभ मुख्य अतिथि भूमि विकास बैंक के पूर्व चेयरमैन सुर्जनलाल वर्मा व विशिष्टï अतिथि अशोक सक्सेना ने किया। कार्यक्रम के आयोजक विजय शुक्ला रिंकू, अध्यक्ष बेनीराम अंजान व व्यापार मंडल के जिलाध्यक्ष एवं सभासद नानक चंद्र वर्मा ने अतिथियों को प्रतीक चिन्ह दिए। इसके बाद दूर-दराज से आए कवियों ने अपनी रचनाओं से शमां बांधा। सुधीर अवस्थी ने सरस्वती वंदना ...शब्दों का भण्डार नही है,भावों का आधार नहीं है सुनाई।
राम कुमार गुप्ता ने...भारतीयता की चिरकाल से प्रतीक यही,धर्म, अर्थ, काम, मोक्ष प्राप्ति का उपाय है..सुनाया। गेंदन लाल कनौजिया ने ...इन्सान बनाया है प्रभु ने हमको, इन्सान ही रहने दो..तिगडम से दूर रहो हरदम, उसमें मानवता रहने दो...सुनाकर इंसानियत का पाठ पढ़ाया। कन्हैया सिंह रास ने...ईश्वर की देखो चतुराई, घास फूस से बने मलाई..कविता सुनाई। हितेश सुशांत ने ...है प्रणाम ऐसे कवि को,जय हो उनकी कविताई..सुनाई। धीरज बाजपेयी...तमन्ना तुम भी रखते हों, तमन्ना हम भी रखते हैं..कविता सुनाकर अपनी इच्छाएं व्यक्त की। इसके अलावा मनोज मिश्रा, मुनेंंद्र प्रताप मंजुल, सुधीर अवस्थी आदि ने भी कविता पाठ किया। इस मौके पर रविसुत शुक्ला, द्वारिका प्रसाद रस्तोगी, दीपक मिश्रा, सौरभ दीक्षित, सुयश त्रिवेदी और रविंद्र कटियार आदि मौजूद रहे। उपस्थित रहे।
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