राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज़ नेटवर्क
शाहजहांपुर: शाहजहांपुर में एक विवादित घटना में जिला प्रशासन ने साधुओं की झोपड़ी पर बुलडोजर चलवा दिया, जिससे साधु संत बेघर हो गए। इस घटना के विरोध में दर्जनों ग्रामीणों के साथ पीड़ित साधु संत कलेक्ट्रेट परिसर पहुंच गए और प्रशासन के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया।
साधुओं ने मांग की है कि जमीन पर उनकी झोपड़ियां को बनवाया जाए और उस जमीन पर गलत तरीके से बनाए जा रहे अंत्येष्टि स्थल की जगह गौशाला बनाई जाए। उन्होंने चेतावनी दी है कि अगर मांग पूरी नही हुई तो आत्महत्या कर लेंगे।
इस मामले में साधुओं ने आरोप लगाया है कि प्रशासन ने उनकी झोपड़ियों को तोड़ने के लिए बुलडोजर का उपयोग किया, जिससे उन्हें बेघर होना पड़ा। उन्होंने कहा कि वे कई वर्षों से उस जमीन पर रह रहे थे और उनकी झोपड़ियों को तोड़ने के लिए प्रशासन ने कोई नोटिस नहीं दिया।
साधुओं ने यह भी आरोप लगाया है कि प्रशासन ने उनकी झोपड़ियों को तोड़ने के लिए पुलिस बल का उपयोग किया, जिससे उन्हें डराया और धमकाया गया। उन्होंने कहा कि वे शांतिपूर्ण तरीके से अपनी मांगों को रखना चाहते थे, लेकिन प्रशासन ने उनकी बात नहीं सुनी।
इस मामले में जिला प्रशासन ने अभी तक कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है, लेकिन सूत्रों के अनुसार प्रशासन ने साधुओं की झोपड़ियों को तोड़ने के लिए कार्रवाई की है क्योंकि वे अवैध रूप से जमीन पर कब्जा कर रहे थे।
इस मामले में साधुओं की मांगों को लेकर विवाद गरमाया हुआ है और यह देखना दिलचस्प होगा कि प्रशासन इस मामले में क्या कार्रवाई करता है।
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