राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज़ नेटवर्क। मध्य प्रदेश पुलिस ने नए आरक्षकों के प्रशिक्षण के दौरान नैतिक मूल्यों, आत्मानुशासन और सेवा भावना को बढ़ावा देने के लिए एक अनोखी पहल की है। अब 4,000 नए आरक्षकों को 9 माह की ट्रेनिंग के दौरान हर रात रामचरितमानस का पाठ करना होगा।मध्य प्रदेश पुलिस विभाग ने नव नियुक्त आरक्षकों के चरित्र निर्माण और नैतिक विकास के लिए एक नई पहल शुरू की है। अब प्रशिक्षण के दौरान नए आरक्षकों को हर रात सोने से पहले रामचरितमानस का पाठ करना अनिवार्य होगा। इस पहल का उद्देश्य युवाओं में नैतिक मूल्यों, आत्मानुशासन और सेवा भावना को बढ़ावा देना है।पुलिस प्रशिक्षण के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (ADG) राजा बाबू सिंह ने बताया कि प्रदेश के आठ प्रशिक्षण केंद्रों में करीब 4,000 नए आरक्षकों की नौ माह की प्रशिक्षण प्रक्रिया शुरू की गई है। इसके साथ ही, पुलिस बल को नई तकनीकों के अनुरूप प्रशिक्षित करने के लिए ई कॉप नामक विशेष कोर्स भी तैयार किया गया है, जो नए आपराधिक कानूनों के अनुरूप डिज़ाइन किया गया है।एडीजी सिंह ने बताया कि उन्होंने सभी जिला पुलिस अधीक्षकों (SPs) से आग्रह किया है कि वे नए प्रशिक्षणार्थियों को रामचरितमानस के पाठ के लिए प्रेरित करें और भगवान श्रीराम के जीवन आदर्शों से सीखने को कहें। उन्होंने कहा, “भगवान राम का वनवास, उनका संघर्ष और मर्यादा पुरुषोत्तम जीवन हमारे जवानों के लिए अनुकरणीय है। यह उन्हें न केवल एक बेहतर पुलिसकर्मी बनाएगा, बल्कि बेहतर नागरिक भी।”सिंह ने यह भी स्पष्ट किया कि प्रशिक्षण केंद्रों में बदलाव की बजाय, फोकस प्रेरणा, आध्यात्मिकता और कर्तव्यपरायणता पर होना चाहिए। उन्होंने इस पहल को पुलिस बल में सांस्कृतिक और नैतिक मूल्यों के समावेश की दिशा में एक सकारात्मक कदम बताया। इस निर्णय को लेकर पुलिस विभाग में इसे आधुनिक प्रशिक्षण और पारंपरिक मूल्यों के संतुलन की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास माना जा रहा है

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