राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज़। ओडिशा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से आज कई महत्वाकांक्षी परियोजनाओं की शुरुआत ने राज्य के विकास की दिशा को स्पष्ट रूप से रेखांकित किया है। देखा जाये तो झारसुगुड़ा से दूरसंचार, रेलवे और उच्च शिक्षा से जुड़ीं कुल 60,000 करोड़ रुपये की परियोजनाओं का उद्घाटन न केवल आर्थिक निवेश का प्रतीक है, बल्कि यह केंद्र और राज्य सरकार के ‘डबल इंजन’ मॉडल की मजबूती का भी संकेत है। प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में स्पष्ट किया कि राज्य की प्रगति में यह मॉडल निर्णायक साबित हो रहा है।इसके अलावा, प्रधानमंत्री द्वारा आठ आईआईटी के विस्तार की आधारशिला रखना शिक्षा क्षेत्र में लंबी अवधि के प्रभाव को दर्शाता है। अगले चार वर्षों में 10,000 नए छात्रों को आईआईटी में पढ़ने का अवसर मिलने से तकनीकी और उच्च शिक्षा के क्षेत्र में ओडिशा में नए कौशल और रोजगार के अवसर खुलेंगे। यह पहल न केवल स्थानीय युवाओं के लिए, बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर भी ओडिशा को एक महत्वपूर्ण शैक्षिक केंद्र के रूप में स्थापित करेगी।इसके अलावा, रेलवे और सड़क अवसंरचना में भी बड़े पैमाने पर निवेश हुआ है। 1,400 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित कोरापुट-बैगुड़ा रेल लाइन, मनाबर-कोरापुट-गोरपुर खंड और संबलपुर के फ्लाईओवर जैसी परियोजनाएं राज्य में कनेक्टिविटी बढ़ाने के साथ व्यापार और उद्योग को भी मजबूती देंगी। ब्रह्मपुर-उधना अमृत भारत एक्सप्रेस का उद्घाटन गुजरात में रहने वाले ओड़िया समुदाय के लिए सांस्कृतिक और आर्थिक महत्व रखता है।दूसरी ओर, दूरसंचार क्षेत्र में प्रधानमंत्री मोदी द्वारा बीएसएनएल के स्वदेशी 4जी नेटवर्क का उद्घाटन एक ऐतिहासिक कदम है। 97,500 से अधिक 4जी टावरों का निर्माण और 37,000 करोड़ रुपये की स्वदेशी तकनीक के निवेश से भारत अब उन देशों में शामिल हो गया है जो खुद दूरसंचार उपकरण विकसित करते हैं। यह पहल डिजिटल इंडिया के दृष्टिकोण और ग्रामीण सशक्तिकरण के लक्ष्यों के अनुरूप है। सीमावर्ती और उग्रवाद प्रभावित इलाकों के 26,700 से अधिक गांवों में कनेक्टिविटी पहुंचना स्थानीय विकास और सुरक्षा के लिए भी महत्वपूर्ण साबित होगा।हम आपको बता दें कि स्वदेशी 4जी टावरों का सौर ऊर्जा से संचालित होना सतत् विकास की दिशा में सरकार की दूरदर्शिता को दर्शाता है। डिजिटल भारत निधि के माध्यम से पूरे देश में 4जी सेचुरेशन बढ़ाने की योजना, मिशन मोड परियोजनाओं के तहत हजारों गांवों को जोड़ने की दिशा में निर्णायक कदम है।देखा जाये तो प्रधानमंत्री मोदी का यह दौरा और उद्घाटन कार्य ओडिशा में आर्थिक, शैक्षिक और डिजिटल विकास की गति को तेज करने की स्पष्ट रणनीति का संकेत है। ‘डबल इंजन’ सरकार का यह मॉडल राज्य को केवल भौतिक अवसंरचना तक सीमित नहीं रखता, बल्कि तकनीकी और डिजिटल क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की दिशा में भी राज्य को अग्रसर कर रहा है। ओडिशा के लिए यह दौर विकास की नई उम्मीदें और अवसर लेकर आया है, जो आने वाले वर्षों में सामाजिक और आर्थिक रूप से राज्य को मजबूत बनाएगा।

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