
राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज़
भागलपुर के सांसद अजय कुमार मंडल ने पार्टी नेतृत्व को सौंपी चिट्ठी में कहा है कि उन्होंने पार्टी सांसद रहते हुए कभी भी पार्टी लाइन के खिलाफ कोई बयान नहीं दिया.
विधानसभा चुनाव के बीच जदयू को बड़ा झटका लगा है. भागलपुर के सांसद अजय मंडल ने सांसद पद से इस्तीफा दे दिया है. पार्टी में खुद को उपेक्षित महसूस कर रहे अजय मंडल ने अपने त्यागपत्र में संगठन पर कई गंभीर आरोप लगाये हैं. भागलपुर के सांसद अजय कुमार मंडल ने पार्टी नेतृत्व को सौंपी चिट्ठी में कहा है कि उन्होंने पार्टी सांसद रहते हुए कभी भी पार्टी लाइन के खिलाफ कोई बयान नहीं दिया. संगठन पर गंभीर आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि स्थानीय सांसद के तौर पर पार्टी संगठन ने विधानसभा चुनाव को लेकर उनसे कोई बात नहीं की.
स्थानीय सांसद की नहीं ली गयी राय
पार्टी प्रमुख को लिखे पत्र में अजय मंडल कहते हैं “मेरे क्षेत्र में मेरी राय की अनदेखी हो रही है.” उन्होंने अपनी चिट्ठी में टिकट बंटवारे और स्थानीय नेतृत्व की अनदेखी पर नाराज़गी जताई है. सांसद अजय कुमार मंडल ने 14 अक्टूबर को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पार्टी नेतृत्व को भेजे पत्र में लिखा है कि पिछले 20-25 वर्षों से वे संगठन और जनता की सेवा कर रहे हैं, लेकिन अब उनके क्षेत्र में टिकट बंटवारे को लेकर उनकी राय को पूरी तरह नज़रअंदाज़ किया जा रहा है.
समर्पित कार्यकर्ता की उपेक्षा
उन्होंने कहा कि पार्टी के कुछ लोग उनके लोकसभा क्षेत्र में टिकट बांटने का काम कर रहे हैं. उनसे इस बारे में कोई राय तक नहीं ली गयी है. जिलाध्यक्ष और जिला कमेटी के प्रस्ताव को भी संगठन स्तर पर खारिज कर दिया गया है. संगठन में समर्पित कार्यकर्ताओं की लगातार अनदेखी की जा रही है. जिन लोगों ने पार्टी संगठन के लिए कोई काम नहीं किया उन्हें टिकट और महत्व मिल रहा है. ऐसे में पार्टी के साथ आगे काम कर पाना कठिन है. अजय मंडल ने अपने पत्र में संसद के पद से इस्तीफा देने की बात कही है.