“लखनऊ में 11 दिसंबर को राय उमानाथ बली प्रेक्षागृह में अवधी समारोह आयोजित होगा। भारत-नेपाल के अवधी साहित्यकार शामिल होंगे और ‘अवध-अवधी’ शोध ग्रंथ का विमोचन होगा।“
लखनऊ। अवधी भाषा के संरक्षण, प्रचार-प्रसार और इसके साहित्यिक विस्तार के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश साहित्य सभा के अवधी प्रकोष्ठ द्वारा 11 दिसंबर को लखनऊ में भव्य “अवधी समारोह” आयोजित किया जाएगा। यह आयोजन सुबह 11 बजे कैसरबाग स्थित राय उमानाथ बली प्रेक्षागृह में होगा।
समारोह में हिंदी के प्रख्यात विद्वान, लखनऊ विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग के पूर्व अध्यक्ष प्रो. सूर्य प्रसाद दीक्षित, पद्मश्री विद्या बिंदु सिंह, तथा सीतापुर क्षेत्र से एमएलसी पवन सिंह चौहान विशेष अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे।
शोध ग्रंथ ‘अवध–अवधी: विविध संदर्भ’ का विमोचन
कार्यक्रम के दौरान अवध भारती संस्थान के संस्थापक अध्यक्ष, राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित और ‘अवधी के दधीच’ कहे जाने वाले डॉ. राम बहादुर मिश्र को समर्पित विराट अवधी शोध ग्रंथ “अवध–अवधी: विविध संदर्भ” का लोकार्पण किया जाएगा।
समारोह का संचालन उत्तर प्रदेश साहित्य सभा के संस्थापक अध्यक्ष और ‘स्माइल मैन’ के नाम से प्रसिद्ध कवि सर्वेश अस्थाना करेंगे।
भारत–नेपाल के अवधी जनपदों के साहित्यकार होंगे शामिल
इस अवधी समारोह में भारत और नेपाल के लगभग सभी अवधी भाषी क्षेत्रों के मूर्धन्य साहित्यकार शामिल होंगे।
कार्यक्रम में अवधी भाषा, साहित्य और संस्कृति की दिशा-दशा पर व्यापक विमर्श होगा।
अतिथियों का सम्मान और अवधी व्यंजन
आयोजकों ने बताया कि सभी आगंतुकों का स्वागत अंगवस्त्र और स्मृतिचिह्न देकर किया जाएगा।
‘स्माइल मैन’ सर्वेश अस्थाना के मुताबिक समारोह में अवधी व्यंजन—कढ़ी चावल और रायता की व्यवस्था भी की गई है।
प्रतिभागियों से लेख आमंत्रित
समारोह में समयाभाव के कारण सभी को मंच से बोलने का अवसर नहीं मिलेगा। इसलिए प्रतिभागियों से अनुरोध किया गया है कि वे निम्न विषयों में से किसी एक पर लिखित आलेख लेकर आएँ:
(सूची संक्षेप में)
- इक्कीसवीं सदी में अवधी
- अवधी ग़ज़ल, नवगीत, बरवै
- सिनेमा में अवधी
- नेपाल में अवधी
- बैसवारी, बघेली, छत्तीसगढ़ी अवधी
- सोशल मीडिया और अवधी
- अवधी व्यंजन, वस्त्राभूषण, लोककथा
- विश्वविद्यालयों में अवधी शोध
- अवधी कविता और सामाजिक सरोकार आदि (कुल 25 विषय)
लोकगीत और कवि सम्मेलन भी होगा
समारोह में कल्चर दीदी कुसुम वर्मा लोकगीत प्रस्तुत करेंगी।
इसके अलावा अवधी कवि सम्मेलन का भी आयोजन किया गया है, जिसमें बाराबंकी के साहित्यकार प्रदीप सारंग सहित कई अवधी आराधक शामिल होंगे।
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विशेष संवाददाता – मनोज शुक्ल




































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































































