
राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज़ नेटवर्क
नॉर्वे शतरंज टूर्नामेंट में विश्व चैंपियन भारत के डी गुकेश ने दिग्गज मैग्नस कार्लसन को हराकर बड़ी जीत हासिल की है। इस जीत से जहां गुकेश बेहद खुश नजर आए, वहीं कार्लसन आपा खो बैठे। अपने देश में गुकेश से हार को वह बर्दाश्त नहीं कर पाए। कार्लसन ने हार के बाद जोर से हाथ को उस मेज पर पटका, जहां चेस बोर्ड रखा हुआ था। उनके हाथ पटकने से पूरा चेस बोर्ड हिल गया।
इसके बाद कार्लसन अपनी कुर्सी से उठकर अपनी भड़ास निकाली और फिर गुकेश से माफी मांगते हुए चेस बोर्ड के पास आए। फिर उन्होंने मुहरों को सजाने की कोशिश की, लेकिन झल्लाहट में उसे भी पटक दिया। वहीं, दूसरी तरफ गुकेश ने जीत हासिल करने के बाद चुपचाप जश्न मनाया। उन्हें यकीन नहीं हुआ कि उनकी मेहनत काम कर गई। फिर कार्लसन तेजी से चलते हुए हॉल से निकल गए। उन्होंने गुकेश की पीठ भी थपथपाई। इसका वीडियो भी सामने आया है। वहां बैठे सभी लोगों ने गुकेश के लिए ताली बजाई।
गुकेश ने कार्लसन को चौंकाते हुए क्लासिकल शतरंज में कार्लसन पर पहली जीत दर्ज की। सफेद मोहरों के साथ खेल रहे कार्लसन ने अधिकांश समय मैच में इसका फायदा उठाया और लगातार दबाव बनाया, लेकिन गुकेश ने जरूरत पड़ने पर सावधानी पूर्वक खेल खेला और फिर कार्लसन पर अटैक किया। जैसे जैसे कार्लसन पर समय से चाल चलने का दबाव बढ़ता गया, कार्लसन ने गलतियां कीं और इसने गुकेश को वापसी का मौका दिया।
गुकेश ने बिना किसी हिचकिचाहट के अपने सारी स्किल को मैच में झोंक दिया और जीत दर्ज की। मैच के बाद गुकेश ने कहा- मैं बहुत कुछ नहीं कर सकता था। मुझे बस इसका अधिकतम लाभ उठाना था। मैं ऐसे कदम उठा रहा था जो कार्लसन के लिए मुश्किल थे और सौभाग्य से चालें सही साबित हुईं। इस टूर्नामेंट से मैंने एक बात सीखी है कि समय से चाल चलने का दबाव आपको गलती करने पर मजबूर कर सकता है।
दोनों के बीच टूर्नामेंट के पहले दौर में भिड़ंत हुई थी, जहां कार्लसन ने अपने ट्रेडमार्क चालों से जीत हासिल की थी। इस बार, हालांकि, गुकेश ने बाजी मारी और पिछली हार का बदला ले लिया। नॉर्वे शतरंज को व्यापक रूप से शतरंज कैलेंडर पर प्रमुख टूर्नामेंट में से एक माना जाता है। छह खिलाड़ी डबल राउंड-रॉबिन प्रारूप में एक दूसरे से भिड़ते हैं। पुरुष और महिला दोनों ही श्रेणी में मैच होते हैं। 2025 संस्करण स्टावेंजर में 26 मई से छह जून तक चलेगा।